मिशन चंद्रयान-3 - आज भारत के लिए 19 मिनट बेहद कीमती, आज क्या होगा महत्वपूर्ण बातें
1. लैंडिंग के आखिरी 19-20 मिनट सबसे क्रिटिकल हैं। लैंडर 30 किमी की ऊंचाई से चांद की सतह पर उतरेगा।
2. कमांड सेंटर से निर्देश मिल जाने के बाद पूरी लैंडिंग अपने आप होगी। लैंडर की गति कम करेंगे, लेकिन चांद के गुरुत्वाकर्षण के कारण यह बढ़ेगी। उचित कमांड देकर इसे भी घटाया जाएगा।
3. जब 23 अगस्त की शाम 6:04 बजे लैंडर सतह पर उतरेगा तो वातावरण में धूल उड़ेगी। अगले कुछ घंटे में जब धूल बैठ जाएगी, तब लैंडर का दरवाजा खुलेगा और रैंप पर लुढ़कता हुआ छह पहियों वाला रोवर बाहर निकलेगा।
4. रोवर करीब दो हफ्ते के अंदर 100 मीटर से 500 मीटर की दूरी तय करेगा।
5. विश्व में भारत का बढ़ेगा मान
चंद्रयान-3 की सफलता के बाद हम चंद्रमा पर इंटरनेशनल लूनर स्टेशन की स्थापना में दुनिया के सबसे अहम किरदार बन जाएंगे। चांद पर होने वाली हर गतिविधि में भारत की बड़ी भूमिका रहेगी।
प्रोजेक्ट डायरेक्टर चंद्रयान-1 2 को लॉन्च करने वाले एम अन्नादुरई में सोशल मीडिया समाचार पत्र आदि पर बताएं है।
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