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लंपी वायरस क्या है। इसके लक्षण क्या है कैसे बचा जा सकता है क्या यह पशुओं से मनुष्यों में भी फैलता है। जाने

   

लंपी वायरस क्या है। इसके लक्षण क्या है कैसे बचा जा सकता है क्या यह पशुओं से मनुष्यों में भी फैलता है। जाने

 

भारत देश एक कृषि प्रधान देश है और इसमें मध्य प्रदेश सहित पूरे देश में पशुपालन काफी किया जाता है पशुपालन से प्रदेश ही नहीं देश की अर्थव्यवस्था पर भी असर पड़ता है उनमें भी इनकी अहम भूमिका होती है ऐसे में लंबी वायरस तेजी से देश के कई राज्यों में पैर पसार चुका है इसकी रोकथाम के लिए सरकारों ने अपने प्रयास शुरू कर दिए हैं इससे संबंधित टीका लंपी वायरस के लक्षण बचाव के तरीके क्या होंगे इसके संबंध में संवाद किया जा रहा।

 
लंपी वायरस क्या है और यह किस में फैलता है।

लंपी बीमारी एक वायरस से फैलती है जो कि खासकर गाय-भैंसों में होती है लंबी लंबी बीमारी है यह स्किन बीमारी है गाय भैंसों के शरीर पर गांठे बन जाती हैं और यह गाड़ी खासकर सिर गर्दन और जनों के आसपास होती हैं धीरे-धीरे फिर बड़ी होने लगती हैं और एक बड़ा घाव बन जाता है। यह बीमारी मच्छर मक्खियों जैसे खून चूसने वाले कीड़ों के माध्यम से फैलती है साथ ही  यह वायरस दूषित पानी लार और चारे के माध्यम से भी फैलती है।

 
देश के कई राज्यों में फैला लंबी वायरस
लंपी वायरस सबसे पहले गुजरात और राजस्थान में यह पाया गया था जहां पर हजारों की संख्या में पशुओं की मौत हो गई है अभी तक इस बीमारी की बात करें तो यह गुजरात राजस्थान पंजाब हरियाणा जम्मू कश्मीर उत्तराखंड हिमाचल प्रदेश और अंडमान निकोबार जैसे प्रदेश और केंद्र शासित प्रदेशों में फैल चुका है।

 

लंपी वायरस के लक्षण
इस वायरस से पशुओं को तेज बुखार आता है और जो पशु दूध देते हैं वह दूध देना कम कर देते हैं मादा पशुओं का गर्भपात भी हो सकता है पशुओं की इससे मौत भी हो जाती है।

 
लंपी वायरस पशुओं से क्या मनुष्य में भी फैल सकता है?
पशुओं में गाय-भैंसों में यह वायरस फैलने के बाद आप सभी के मन में यह प्रश्न उठ रहा होगा की क्या दूध में भी यह वायरस पहुंच जाएगा क्या इंसानों तक भी है वायरस फैल जाएगा।

 
गाय-भैंसों में लंबी वायरस फैलने के बाद मनुष्य में यह वायरस नहीं खेला है।
पशुओं में फैलने के बाद अभी ऐसा कोई भी डाटा सामने नहीं आया है कि इसके दूध के सेवन से मनुष्य में भी यह बीमारी या वायरस फैल सकता है फिर भी एक सलाह के तौर पर हमें सावधानी बरतनी चाहिए कि जिन पशुओं को यह बीमारी है जो इस वायरस से ग्रस्त हैं उनके दूध का सेवन से हाल-फिलहाल बचना चाहिए।

 

लंपी वायरस से बचने के तरीके
लंबी वायरस मक्खी मच्छर दूषित चारा लार आदि के मध्यम से फेलता है। यदि आपकी गौशाला में किसी एक पशु को लंपी वायरस के लक्षण दिख रहे हैं तो सभी स्वस्थ पशुओं को  दूर कर दें क्योंकि यह वायरस एक पशु से दूसरे पशु में फैलता है। किसान भाइयों को गौशाला सेवकों को या जो भी पशुपालन करते हैं सबको रखना चाहिए। लंबी वायरस से पशुओं की मौत भी हो जाती है यदि पशुओं की मौत हो जाए तो उसे दूर ले जाकर गड्ढा खोदकर दफन कर देना चाहिए जिससे कि उस वायरस के लक्षण अन्य पशुओं में न फैल सके।

 

सीएम शिवराज सिंह चौहान
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने लंपी वायरस से बचाव के लिए स्वयं लाइव आकर उन्होंने संदेश दिया प्रदेशवासियों को संबोधित किया । इस लंपी वायरस से हम कैसे बच सकते हैं और हमें क्या करना चाहिए।

 
उन्होंने आगे कहा की लंबी वायरस से बचने के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही है इससे संबंधित टीका राज्य सरकार द्वारा फ्री में लगाया जा रहा है तो पशु मालिकों को यह सलाह दी गई है कि वह अपने पशुओं के डॉक्टर से मिले पशुओं की बीमारी को बताएं और टीका पशुओं को लगवाए जिससे कि यह बीमारी प्रदेश में और न फैले।

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